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कांग्रेस ने बजाया जीत का डंका, कर्नाटक में कांग्रेस को पूर्ण बहुमत

राहुल गांधी ने कहा- नफरत का बाजार बंद और मोहब्बत की दुकानें खुलीं

बेंगलुरू/नई दिल्ली (ईएमएस)। कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने बड़ी जीत हासिल की है। जीत पर राहुल गांधी ने कहा कि कर्नाटक में नफरत का बाजार बंद हो गया और अब से मोहब्बत की दुकानें खुल गई हैं। उन्होंने कहा कि कर्नाटक के चुनाव में कांग्रेस के साथ गरीब जनता की शक्ति थी और उस शक्ति ने नफरत वाली ताकत को हरा दिया। यही अब हर राज्य में होगा।
कर्नाटक जीत की तस्वीर साफ होते ही राहुल गांधी कांग्रेस मुख्यालय पहुंचे थे। उन्होंने मीडिया को संबोधित करते हुए कर्नाटक की जनता के प्रति आभार व्यक्त किया। राहुल ने कांग्रेस नेताओं और सभी कार्यकर्ताओं को जीत की बधाई दी। उल्लेखनीय है कि कर्नाटक विधानसभा चुनाव-2023 में कांग्रेस पार्टी की शानदार जीत पर पहली प्रतिक्रिया देते हुए राहुल गांधी ने कहा कि मैं वहां की जनता और हमारी पार्टी के सभी नेताओं, कार्यकर्ताओं को बधाई देता हूं, जिन्होंने इस जीत के लिए मेहनत की। राहुल गांधी ने आगे कहा कि कर्नाटक के चुनाव में कांग्रेस के साथ गरीब जनता की शक्ति थी और उस शक्ति ने ताकत को हरा दिया। यही अब हर राज्य में होगा। कांग्रेस कर्नाटक में जनता के साथ खड़ी हुई, गरीबों के मुद्दों पर हम चुनाव लड़े. हमने नफरत से यह लड़ाई नहीं लड़ी, बल्कि प्यार से यह लड़ाई लड़ी। राहुल गांधी ने आगे कहा कि कर्नाटक की जनता ने दिखाया है कि मोहब्बत इस देश को अच्छी लगती है। कर्नाटक में नफरत का बाजार बंद हुआ है और मोहब्बत की दुकानें खुल गई हैं। सबसे पहले यह कर्नाटक की जनता की जीत है। प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल गांधी ने बड़ा ऐलान भी किया। कांग्रेस के चुनावी वादों पर उन्होंने कहा कि हमनें पांच वादे किए थे, इन्हें पहली कैबिनेट बैठक में पूरा करेंगे।

सीएम बोम्मई के 11 मंत्री जीते, 11 हारे…सीएम पद के तीनों चेहरों को मिली जीत

इस चुनाव में भाजपा और कांग्रेस के कई बड़े चेहरों का राजनीतिक भविष्य दांव पर लगा था। कांग्रेस के सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार, भाजपा के बसवराज बोम्मई प्रमुख फेस थे। ये तीनों चुनाव जीत गए। लेकिन 1५ मंत्री हार गए। कांग्रेस अध्यक्ष के तौर पर मल्लिकार्जुन खडग़े के लिए भी यह बेहद अहम चुनाव था। एकतरफा जीत से पार्टी में उनका कद बढ़ेगा।

-प्रियंका हनुमान मंदिर में पूजा करने पहुंची

काउंटिंग के बाद जब कांग्रेस की जीत के रूझान आने लगे तो प्रियंका गांधी शिमला के हनुमान मंदिर में पूजा करने पहुंची। पहली बार 73.19 प्रतिशत मतदान, पिछले चुनाव से 1 प्रतिशत ज्यादा राज्य में 38 साल से सत्ता रिपीट नहीं हुई है। आखिरी बार 1985 में रामकृष्ण हेगड़े के नेतृत्व वाली जनता पार्टी ने सत्ता में रहते हुए चुनाव जीता था। वहीं, पिछले पांच चुनाव (1999, 2004, 2008, 2013 और 2018) में से सिर्फ दो बार (1999, 2013) सिंगल पार्टी को बहुमत मिला। भाजपा 2004, 2008, 2018 में सबसे बड़ी पार्टी बनी। उसने बाहरी सपोर्ट से सरकार बनाई।
10 मई को 224 सीटों के लिए 2,615 उम्मीदवारों के लिए 5.13 करोड़ मतदाताओं ने वोट डाले। चुनाव आयोग के मुताबिक, कर्नाटक में 73.19त्न मतदान हुआ है। यह 1957 के बाद राज्य के चुनावी इतिहास में सबसे ज्यादा है।कांग्रेस ने 136, भाजपा ने 65, जनता दल एस ने 19 और अन्य ने 4 सीटों पर जीत हासिल की।

खडग़े ने नवनिर्वाचित विधायकों को बैंगलुरु बुलाया

वहीं कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े ने कर्नाटक विधानसभा चुनाव में पार्टी के अच्छे प्रदर्शन को जनता जनार्दन की जीत करार देते हुए कहा कि लोगों ने भारतीय जनता पार्टी के खराब प्रशासन और कांग्रेस की पांच गारंटी के पक्ष में वोट किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के सभी नवनिर्वाचित विधायकों से बैंगलुरु पहुंचने के लिए कहा गया है, ताकि सरकार की गठन की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जा सके। खडग़े ने बैंगलुरू में संवाददाताओं से कहा कि हमने सभी नवनिर्वाचित विधायकों को संदेश भेजा है कि वो बैंगलुरु पहुंचें। इसके बाद आलाकमान पर्यवेक्षक भेजेगा और फिर सरकार गठन की प्रक्रिया होगी।

बाहुबल के खिलाफ किया मतदान : चिदंबरम

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने कहा कि कर्नाटक की जनता ने भाजपा के धनबल और बाहुबल के खिलाफ मतदान किया है। उन्होंने जीत के लिए कर्नाटक की जनता का आभार भी जताया।

अखिलेश ने कहा-भाजपा का अंतकाल शुरू

कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी की जीत पर सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भाजपा पर निशाना साधा और कहा कि भाजपा की नकारात्मक, सांप्रदायिक, भ्रष्टाचारी, सामाजिक-बंटवारे, झूठे प्रचारवाली, व्यक्तिवादी राजनीति का अंतकाल शुरू हो गया है। सपा मुखिया अखिलेश यादव ने शनिवार को ट्वीट कर कहा कर्नाटक का संदेश ये है कि भाजपा की नकारात्मक, सांप्रदायिक, भ्रष्टाचारी, अमीरोन्मुखी, महिला-युवा विरोधी, सामाजिक-बंटवारे, झूठे प्रचारवाली, व्यक्तिवादी राजनीति का अंतकाल शुरू हो गया है। ये नये सकारात्मक भारत का महंगाई, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार एवं वैमनस्य के खिलाफ सख्त जनादेश है।

नहीं चला मोदी का जादू :  सिद्धारमैया

कर्नाटक में चुनावी रुझानों से उत्साहित कांग्रेस नेता व कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि राज्य में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कां जादू नहीं चला। मैसूर में अपने आवास पर पत्रकारों से बात करते हुए सिद्धारमैया ने कहा, मैंने पहले ही घोषणा कर दी थी कि प्रधानमंत्री मोदी का जादू कर्नाटक में नहीं चलेगा और कांग्रेस पार्टी को किसी अन्य राजनीतिक दल के समर्थन की जरूरत नहीं होगी और वह अपने दम पर सरकार बनाएगी।

खुशी के मारे रो पड़े  शिवकुमार

कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डीके शिवकुमार विधानसभा चुनाव में पार्टी की जीत सुनिश्चित नजर आने के बाद शनिवार को भावुक हो गए। प्रदेश का नेतृत्व करने के लिए उनमें विश्वास जताने के लिए उन्होंने गांधी परिवार का आभार जताया। इस अवसर पर शिवकुमार कांग्रेस के प्रदर्शन के बारे में बात कर रहे थे, तो उनकी आंखों से आंसू निकल आए। शिवकुमार ने कहा कि उन्होंने पार्टी आलाकमान को बताया था कि वह कर्नाटक में पार्टी की जीत सुनिश्चित करेंगे। उन्होंने भावुक होते हुए कहा कि मैं पार्टी के कार्यकर्ताओं और नेताओं को इस जीत का श्रेय देता हूं। लोगों ने हममें विश्वास जताया और नेताओं ने हमारा समर्थन किया। यह सामूहिक नेतृत्व है और हमने मिलकर काम किया। शिवकुमार ने कहा कि मैंने सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से कहा था कि हम कर्नाटक जीतकर देंगे। मैं भूल नहीं सकता कि जब भाजपा ने मुझे जेल में डाला था तो सोनिया गांधी मुझसे मिलने आई थीं। गांधी परिवार, कांग्रेस और पूरे देश ने यह विश्वास मुझ में जताया था। उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धरमैया समेत प्रदेश के पार्टी नेताओं, विधायकों और पदाधिकारियों का आभार जताया।

यह प्रधानमंत्री मोदी की हार : जयराम रमेश 

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने कहा कि सबसे पुरानी पार्टी जीत गई है, और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हार गए हैं। उन्होंने कहा, कर्नाटक में चुनावी नतीजे आने के बाद अब यह तय हो गया है, कि कांग्रेस की जीत हुई है और प्रधानमंत्री की हार हुई है। भाजपा ने अपने चुनाव अभियान को प्रधानमंत्री और राज्य को उनका आशीर्वाद मिलने का जनमत संग्रह बनाया था। यह निर्णायक रूप से अस्वीकार कर दिया गया है! कांग्रेस नेता रमेश ने इस पर जोर दिया कि कांग्रेस ने स्थानीय मुद्दों को लेकर चुनाव लड़ा था, जबकि भाजपा ने ध्रुवीकरण को चुना। उन्होंने ट्वीट किया, कांग्रेस पार्टी ने ये चुनाव आजीविका और खाद्य सुरक्षा, मूल्य वृद्धि, किसान संकट, बिजली आपूर्ति संकट, बेरोजगारी और भ्रष्टाचार के स्थानीय मुद्दों पर लड़ा। वहीं प्रधानमंत्री मोदी ने ध्रुवीकरण का इंजेक्शन लगाकर समाज को बांटने का प्रयास किया। कर्नाटक में वोट एक इंजन सरकार के लिए है, जो आर्थिक विकास को सामाजिक सद्भाव के साथ जोड़ेगा।

सीएम बोम्मई ने कर्नाटक चुनाव में मानी हार 

कर्नाटक में कांग्रेस को मिली जीत के बाद मुख्यमंत्री बासवराज बोम्मई ने हार स्वीकार कर ली है। बोम्मई ने कहा कि 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव में पार्टी कमबैक करेगी। उन्होंने कहा कि हम मंजिल तक नहीं पहुंच सके। सीएम बोम्मई ने कहा कि कर्नाटक चुनाव के सभी परिणाम आने के बाद हम विस्तृत विश्लेषण करने और एक राष्ट्रीय राजनीतिक दल के रूप में हम विभिन्न स्तरों पर अपनी कमियों को देखकर उसमें सुधार करने वाले हैं, और इस पुनर्गठित कर लोकसभा चुनाव में वापसी करने की तैयारी में है।

कांग्रेस विधायकों को बेंगलुरु के रिजॉर्ट में रखने की तैयारी

कर्नाटक में कांग्रेस के शिविर में जारी जश्न के बीच पार्टी अपने विजयी उम्मीदवारों को शनिवार को ही बेंगलुरु के बाहरी इलाके में स्थित एक रिजॉर्ट में शिफ्ट करने की योजना बना रही है। सूत्रों ने इस बात की पुष्टि की। मतगणना के अब तक मिल रहे रुझानों के अनुसार कांग्रेस राज्य में बहुमत की ओर बढ़ रही है तथा उसका सरकार बनाना तय दिख रहा है। पार्टी ने बड़ी बढ़त हासिल कर चुके या विजयी घोषित अपने सभी उम्मीदवारों को आज रात ही बेंगलुरु के रिजॉर्ट में पहुंचने के लिए कहा है। सूत्रों ने बताया कि पहले पार्टी नेतृत्व पूर्ण बहुमत नहीं आने की स्थिति में विधायकों को जयपुर के एक रिजॉर्ट में स्थानांतरित करने की सोच रही थी। सूत्रों ने बताया कि अब नेतृत्व स्पष्ट बहुमत के प्रति आश्वस्त है और महाराष्ट्र की घटना के बाद कोई जोखिम नहीं लेते हुए अब विधायकों को बेंगलुरु के रिजॉर्ट में रखने की योजना बनाई गई है।

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