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मप्र उपचुनाव में नेता चुप, अब वोटर बोलेंगे; 32 दिन प्रचार के बाद 28 सीटों की सीमाएं सील, अब एक दिन सिर्फ घर-घर प्रचार

  • भाजपा ने 274 सभाएं, रैली, रोड शो किए, शिवराज हर सीट पर औसतन 3 बार पहुंचे
  • कांग्रेस की 170 सभाएं, रैलियां, कमलनाथ हर सीट पर कम से कम दो बार गए
  • अब बूथ मैनेजमेंट : कांग्रेस ने 48 घंटे के लिए तय की प्रमुख नेताओं की जिम्मेदारी; भाजपा में सेक्टर प्रभारियों की प्रमुख नेताओं से बातचीत

मप्र की 28 विधानसभा सीटों पर होने जा रहे उप चुनाव के लिए बीते 32 दिन से जारी चुनाव प्रचार रविवार शाम 6 बजे थम गया। इन सीटों की सीमाएं सील कर दी गई हैं। अब अगले 48 घंटे मतदाता के होंगे। वह विचार, मंथन के बाद 3 नवंबर को मतदान करेगा और 10 नवंबर को इसका परिणाम सामने आएगा।

भाजपा में 2 अक्टूबर से लेकर 1 नवंबर तक छह नेताओं शिवराज सिंह चौहान, वीडी शर्मा, नरेंद्र सिंह तोमर, प्रहलाद पटेल, उमा भारती और ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कुल 274 सभाएं, रैली, सम्मेलन और रोड-शो किए। यानी हर सीट पर ये नेता अलग-अलग करीब 9 बार पहुंचे।

वीडी शर्मा ने 45, सिंधिया ने 71, नरेंद्र सिंह तोमर 48, उमा भारती 20 और कैलाश विजयवर्गीय ने 12 सभाएं कीं। सिंधिया अनूपपुर सीट पर नहीं गए। शिवराज ने 78 सभाएं कीं, यानी हर सीट पर औसतन वह 3 बार पहुंचे। इसी कमलनाथ ने अकेले सभी सीटों 50 से अधिक सभाएं की। वे हर सीट पर दो बार गए। दिग्विजय सिंह, अजय सिंह, डॉ. गोविंद सिंह व सज्जन सिंह वर्मा ने मिलकर 120 सभाएं कर दीं।

वो मुद्दे-वादे, जो 33 दिन छाए रहे

  • व्यक्तिगत आरोप, स्तरहीन शब्दों पर चुनाव आयोग ने कार्रवाई की। कमलनाथ से स्टार प्रचारक का दर्जा छीना, जबकि कैलाश विजयवर्गीय, इमरती देवी, मोहन यादव, बिसाहूलाल सिंह, आचार्य प्रमोद कृष्णन, ऊषा ठाकुर, गिर्राज को नोटिस दिए।
  • कांग्रेस ने भाजपा में शामिल हुए अपने 25 नेताओं के खिलाफ गद्दार कैंपेर चलाया। दावा किया- ये नेता 25 करोड़ में भाजपा में गए। जनता इनसे अपने वोट की कीमत वसूले।
  • भाजपा ने तबादला उद्योग, वल्लभभवन से दलाली, 15 महीनें की कमलनाथ सरकार का भ्रष्टाचार, कमलनाथ के करीबियों पर आयकर के छापों के जरिए कांग्रेस को घेरा।
  • गद्दार और वफादार मुहीम के जवाब में भाजपा ने कैंपेन में कहा-गद्दारी तो कांग्रेस किसानों और युवाओं के साथ की। कर्जमाफी नहीं की और युवाओं को 4 हजार भी नहीं दिए।

भाजपा के वादे

  • सभी को कोरोना वैक्सीन मुफ्त।
  • किसानों को सम्मान निधि को चार हजार रुपए बढ़ाएंगे।
  • सहरिया, बैगा और भारिया जाति के आदिवासियों को एक हजार रुपए सहयोग राशि।
  • अनाज की पूरी खरीदी करेंगे, किसानों को फसल बीमा का पैसा, जीरो प्रतिशत पर लोन।
  • कांग्रेस सरकार में बंद हुई तमाम योजनाएं संबल, लाड़ली, सीएम कन्यादान, पीएम आवास, मेधावी फिर चालू होंगी

कांग्रेस के वादे

  • कर्जमाफी योजना आगे भी जारी रहेगी।
  • शासकीय सेवा से निकाले जाने वाले संविदा कर्मचारी की बहाली।
  • आंगनबाड़ी कार्यकर्ता-सहायिका का मानदेय बढ़ाएंगे।
  • 100 रुपए में सौ यूनिट बिजली दी जाएगी।
  • सामाजिक सुरक्षा पेंशन राशि एक हजार रुपए की जाएगी

आखिरी जोर आजमाइश

मैं जहां भी जाता, लोग कहते थे- मामा बचा ले रे, गिरा दे सरकार, इसलिए हमने गिरा दी : शिवराज

सुवासरा के शामगढ़ में रोड शो के दौरान शिवराज ने महिषासुर मर्दिनी मंदिर में साष्टांग किया।

सुवासरा के शामगढ़ में रोड शो के दौरान शिवराज ने महिषासुर मर्दिनी मंदिर में साष्टांग किया।

दो साल पहले हुए चुनाव बाद जहां भी गया, वहां जनता रोती थी। कहती थी- मामा बचा ले रे, गिरा दे सरकार। फिर इन्होंने सिंधियाजी को धोखा दिया, इसलिए हमने सरकार गिरा दी। कांग्रेसी कहते हैं- गद्दारी की। अरे, गद्दारी तो दो साल पहले जब चुनाव था, तभी शुरू हो गई थी। चुनाव में मुख्यमंत्री का चेहरा कोई दिखाया, बारात कोई और की निकाली, शहनाई किसी और की बजी और फेरे किसी और के पढ़वा दिए।

मैंने कभी कुत्ता शब्द नहीं कहा, सिंधिया ने अपना नया नामकरण खुद किया : कमलनाथ

ग्वालियर में जन आशीर्वाद रैली के दौरान जनता से जीत का आशीर्वाद लेते कमलनाथ।

ग्वालियर में जन आशीर्वाद रैली के दौरान जनता से जीत का आशीर्वाद लेते कमलनाथ।

मैंने अशोकनगर या कहीं भी ज्योतिरादित्य सिंधिया को कुत्ता शब्द के नाम से संबोधित नहीं किया। यदि वे खुद कहने लगे कि मैं कुत्ता हूं… कुत्ता हूं, मैं इस पर कुछ नहीं कहूंगा। कभी टाइगर जिंदा होता, कभी शर्मिंदा होता है। उन्होंने अपना नया नामकरण खुद कर लिया। सिंधिया या उनके विधायकों की कांग्रेस में वापसी संभव नहीं होगी। सौदेबाजी से उपचुनाव कभी नहीं हुए, लेकिन गद्दारों ने पहली बार सब कुछ कर दिखाया

तुलसी आखिरी मिनट तक प्रचार में जुटे रहे, 14 टाउनशिप के हर परिवार से मिले

भाजपा प्रत्याशी तुलसी सिलावट ने प्रचार थमने के अंतिम पल तक जनसंपर्क किया। प्रचार के आखिरी समय में वे शिप्रा में थे, उससे पहले डकाच्या भी पंहुचे। सिलावट ने कांसा ग्रीन, अंसल टाउनशिप समेत विधानसभा में आने वाली 14 टाउनशिप में भी वोट मांगे।

रविवार का दिन होने के कारण वे एक-एक परिवार से व्यक्तिगत मिले। प्रचार थमने के बाद उन्होंने बूथ पदाधिकारियों के साथ बैठक के अलावा चुनाव प्रभारी विधायक रमेश मेंदोला, जिला अध्यक्ष डॉ. राजेश सोनकर, चुनाव सहप्रभारी मधु वर्मा के साथ मंत्रणा की। रात में सिलावट उन तमाम कार्यकर्ताओं से भी मिलें, जो मतदान के दिन मोर्चा संभालेंगे।

गुड्डू ने आधा घंटा पहले ही खत्म किया प्रचार, पत्नी-बेटी ने घर-घर मांगे वोट

सांवेर उपचुनाव के प्रचार के अंतिम दिन कांग्रेस प्रत्याशी प्रेमचंद्र गुड्डू ने कई जगह प्रचार किया। प्रचार थमने से आधा घंटा पहले वे पिवड़ाय में थे। वे यहां ग्रामीणों से मिले। जनसंपर्क किया। उससे पहले वे लसूड़िया क्षेत्र में पंहुचे थे। सुबह वे सांवेर में थे।

इस दौरान उन्होंने ग्रामीणों से वोट देने की गुहार लगाई। उनकी पत्नी आशा और पुत्री रीना ने भी कई इलाकों में प्रचार किया। रविवार का दिन होने के कारण परिवार के अन्य सदस्य भी दिनभर प्रचार में जुटे रहे। बाद में उन्होंने बूथ पदाधिकारियों से फाेन पर चर्चा की। जिला अध्यक्ष सदाशिव यादव, पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने भी प्रचार किया।

अब तक 75 एफआईआर दर्ज हो चुकीं

(संजय गुप्ता) इंदौर. सांवेर उपचुनाव में शिकायतों का आंकड़ा 700 तक पहुंच गया है। इनमें 75 मामलों में एफआईआर भी दर्ज हो चुकी है। नामांकन से लेकर अब तक शिकायतों का स्वरूप भी बदलता गया।

कोविड प्रोटोकॉल: नामांकन भरने और नाम वापसी की अंतिम तारीख 19 अक्टूबर तक 250 शिकायतें हुईं। 90% से अधिक कोविड प्रोटोकॉल के उल्लंघन को लेकर थीं।

बैनर-पोस्टर: कोविड प्रोटोकॉल पर रियायत मिलने के बाद बिना मंजूरी पोस्टर, बैनर लगाने, प्रचार करने की 50 से ज्यादा शिकायतें की गईं।

बदजुबानी: नेताओं ने एक-दूसरे पर जमकर टिप्पणियां कीं। आयोग ने कई नेताओं को नोटिस जारी किए। 200 शिकायतें अशोभनीय भाषा, सोशल मीडिया पर गलत प्रचार की हुईं।

प्रलोभन: प्रचार थमने के साथ ही शराब, साड़ियां, कपड़े, नकदी देने, भोजन-भंडारे की शिकायतें तेज हो गई हैं। दो दिन में सौ से अधिक शिकायतें प्रशासन के पास पहुंच चुकी हैं।

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