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नामीबिया से आये चीतों को मप्र के कूनो राष्ट्रीय उद्यान में छोड़ेंगे प्रधानमंत्री

भोपाल। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अपने जन्मदिन के मौके पर 17 सितंबर को प्रदेश और देश को एक ऐतिहासिक सौगात देने वाले हैं। मध्यप्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान में प्रधानमंत्री बड़े जंगली जानवरों को पुनर्स्थापित करने की दुनिया की पहली अंतरमहाद्वीपीय परियोजना का शुभारंभ करेंगे। भारत में वर्ष 1952 से विलुप्त घोषित चीतों को इस उद्यान में छोड़ा जाएगा।

प्रधानमंत्री मोदी शनिवार की सुबह 10.30 बजे मध्यप्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान में चीतों को 70 वर्ष के लम्बे अंतराल के बाद पुन: बसाने के लिये विमुक्त करेंगे। प्रधानमंत्री मोदी अपरान्ह 11.40 पर हरा-भरा मध्यप्रदेश अभियान में कराहल हेलीपेड स्थल पर पौध-रोपण करेंगे। प्रधानमंत्री श्योपुर जिले के कराहल के मॉडल स्कूल ग्राउंड में दोपहर 12 बजे महिला स्व-सहायता समूहों के सम्मेलन को भी संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री मोदी विशेष पिछड़ी जनजाति समूह कौशल विकास प्रशिक्षण केन्द्रों शिवपुरी, मण्डला, शहडोल और तामिया का ई-लोकार्पण करेंगे।प्रधानमंत्री मोदी के कार्यक्रमों में राज्यपाल मंगुभाई पटेल, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केन्द्रीय कृषि एवं किसान-कल्याण मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, केन्द्रीय नागरिक विमानन एवं इस्पात मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया, केन्द्रीय इस्पात एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते, प्रदेश के वन मंत्री कुंवर विजय शाह, पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री महेन्द्र सिंह सिसोदिया, जनजातीय कार्य एवं अनुसूचित-जाति कल्याण मंत्री मीना सिंह, उद्यानिकी एवं खाद्य प्र-संस्करण (स्वतंत्र प्रभार) तथा नर्मदा घाटी विकास राज्य मंत्री भारत सिंह कुशवाह, पंचायत एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री रामखेलावन पटेल और खजुराहो सांसद वीडी शर्मा भी मौजूद रहेंगे।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को ट्वीट के माध्यम से कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अपने जन्मदिन पर मध्यप्रदेश को ऐतिहासिक सौगात “चीते” देने आ रहे हैं। यह चीते एक महाद्वीप से दूसरे महाद्वीप में जा रहे हैं। यह हमारे लिए सौभाग्य है कि भारत को बदलने वाले, नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने वाले प्रधानमंत्री मोदी अपने जन्मदिन के दिन मध्यप्रदेश में होंगे और एक बड़ी सौगात लेकर आयेंगे। मैं तो मध्यप्रदेश का अत्यंत सौभाग्य मानता हूं।भारत में वर्ष 1952 से विलुप्त घोषित ‘चीता’ इस वर्ष 2022 में पुन: पुनर्स्थापित होने जा रहा है। इसके पूर्व चीता पुनर्स्थापना के लिए केन्द्र और राज्य सरकार के साथ अंतरराष्ट्रीय चीता विशेषज्ञों की आपस में वार्ता हो चुकी है। भारतीय वन्य जीव संस्थान (वाइल्ड लाइफ इंस्टीट्यूट) ने भारत में चीताें के पुनर्स्थापना के लिए देश में चयनित 10 स्थान में से प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान को सर्वाधिक उपयुक्त पाया।

शनिवार को प्रधानमंत्री मोदी दो बाड़ों में चीतों को विमुक्त करेंगे। विशेष जंबो जेट बी 747 नामीबिया से आठ चीतों को भारत लाया जा रहा है। इनमें पांच मादा और तीन नर हैं। नामीबिया से इन्हें लेकर विमान शुक्रवार को सुबह नामीबिया से उड़ान भर चुका है। 16 घंटे की सफर तय कर यह विमान को सुबह ग्वालियर एयरपोर्ट पहुंचेगा। यहां से चीतों को हेलीकाप्टर से कूनो अभ्यारण्य ले जाया जाएगा। इसी दिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चीतों को कूनो पार्क में छोड़ेंगे। परियोजना के एकीकृत प्रबंधन में कूनो राष्ट्रीय उद्यान के 750 वर्ग किलोमीटर में लगभग दो दर्जन चीतों के रहवास के लिए उपयुक्तता है। इसके अतिरिक्त करीब 3 हजार वर्ग किलोमीटर वन क्षेत्र दो जिलों श्योपुर और शिवपुरी में चीतों के स्वच्छंद विचरण के लिए उपयुक्त है।स्व-सहायता समूहों की बहनों का सम्मेलन

प्रधानमंत्री मोदी श्योपुर जिले के कराहल में महिला स्व-सहायता समूहों के सम्मेलन में शिवपुरी, मण्डला, शहडोल और तामिया के विशेष पिछड़ी जनजाति समूह कौशल विकास प्रशिक्षण केन्द्रों का ई-लोकार्पण करेंगे। प्रधानमंत्री स्व-सहायता समूहों की बहनों से संवाद कर उद्यमशीलता की जानकारी प्राप्त करेंगे। प्रदेश में महिला सशक्तिकरण और उन्मुखीकरण के लिये म.प्र. राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन में 3 लाख 86 हजार स्व-सहायता समूह कार्य कर रहे हैं। इन समूहों से 43 लाख से अधिक परिवार जुड़े हैं। समूहों द्वारा सब्जी उत्पादन, दुग्ध उत्पादन, अगरबत्ती, हैण्डवॉश, साबुन निर्माण, कृषि और पशुपालन आधारित आजीविका गतिविधियाँ और आजीविका पोषण वाटिका के संचालन संबंधी कार्य किये जा रहे हैं।

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