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रोजगार के नाम पर युवाओं के साथ
धोखाधड़ी बंद करें सरकार: संतोष सिंह परिहार

भोपाल। प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता संतोष सिंह परिहार ने कहा है कि मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कहते हैं कि भ्रष्टाचार में जीरो टालरेंस है, लेकिन सच्चाई ठीक उसके विपरीत है, प्रदेश में बिना भ्रष्टाचार के कोई काम नहीं होता। हाल ही में शिक्षकों की भर्ती में घोटाला सामने आया है, जब शिक्षकों के संगठन ने आंदोलन किया, शिकायत की, तब कहीं जाकर मध्यप्रदेश शिक्षक भर्ती में एक ही नाम बार-बार चयन लिस्ट में आने की जांच शुरू कराई गई है। असल में उच्च एवं माध्यमिक शिक्षक भर्ती पिछले 4 वर्षों से बड़े ही धीमी गति से चल रही है, उसमें भी चयन सूची में बार-बार नामों की पुनरावृत्ति हो रही है। जिससे आक्रोशित पात्र अभ्यर्थी लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे हैं। शिक्षक भर्ती अभ्यर्थियों द्वारा जानकारी प्राप्त हो रही है कि एक बार पोस्टिंग लेने के बाद भी उसी के नाम दूसरी बार जारी लिस्ट में आ जाता है। इससे वेटिंग में बैठे छात्रों को मौका नहीं मिल पाता है।

श्री परिहार ने कहा कि एक ओर बेरोजगारों के साथ यह एक भद्दा मजाक है, वहीं प्रदेश में चल रहे भ्रष्टाचार और घोटालों का प्रमाण भी है। सुना है इस भर्ती में भी पिछले दरवाजे से कई लोगों से पैसा लिया गया। इसके पहले जो प्रदेश में शिक्षकों के तबादलों की सूची जारी हुई, उसमें भी भारी भ्रष्टाचार होने की जानकारी मिली है। जानकारी यह भी मिली है कि प्रदेश के स्कूल शिक्षा मंत्री ने नेताओं और विधायकों की सिफारिशों को रद्दी की टोकरी में फिकवा दिया और सीधे दलालों के माध्यम से तबादले कर दिये गये।

श्री परिहार ने कहा कि स्कूल शिक्षा विभाग में पदस्थ चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी तक से यह कहते सुना गया कि सिफारिश नहीं चलेगी, चालीस हजार से लेकर एक लाख रुपए तक रेट चल रहा है तबादलों का। सरकार को इसका जवाब सरकार को देना होगा। परिहार ने सरकार से मांग की है कि यदि मुख्यमंत्री जीरो टालरेंस का प्रमाण देना चाहते हैं, तो शिक्षकों की भर्ती और तबादलों की उच्च स्तरीय जांच कराएं। राज्य सरकार रोजगार के नाम पर युवाओं के साथ धोखाधड़ी बंद करें।

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