लोकसभा : 21 दिन से सदन में पेगासस, किसानों जैसे मुद्दों पर हंगामा कर रहे विपक्ष Nation Politics by mpeditor - August 9, 2021August 9, 20210 नई दिल्ली- 21 दिन से जारी मानसून सेशन में हंगामे और विरोध के बीच पहली बार केंद्र सरकार को विपक्ष का सपोर्ट मिला है। लोकसभा में सोमवार को संविधान का 127वां संशोधन बिल पेश किया गया। विपक्षी पार्टियों ने कहा है कि वे इस बिल को लेकर सरकार के साथ हैं। दरअसल, इस संशोधन के लोकसभा और राज्यसभा में पास होने के बाद राज्य को ये अधिकार मिल जाएगा कि वो OBC की लिस्ट में अपनी मर्जी से जातियों की लिस्टिंग कर सकें। खास बात यह है कि 21 दिन से सदन में पेगासस, किसानों जैसे मुद्दों पर हंगामा कर रहे विपक्ष ने भी इस बिल को लेकर सरकार का साथ दिया है। लोकसभा के बाद राज्यसभा में बिल पास होने के बाद इसे राष्ट्रपति से मंजूरी मिलनी बाकी है। इसके बाद यह कानून बन जाएगा। इसके बाद कर्नाटक में लिंगायत, गुजरात में पटेल, हरियाणा में जाट और महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण का रास्ता साफ हो जाएगा। लोकसभा में 3 बिल पासलोकसभा में तीन बिल पास हुए। लिमिटेड लाइबिलिटी पाटर्नरशिप बिल, 2021; डिपोजिट इंश्योरेंस एंड क्रेडिट गारंटी कॉर्पोरेशन (अमेंडमेंट) बिल, 2021 और कॉन्स्टिट्यूशन (शेड्यूल्ड ट्राइब्स) ऑर्डर (अमेंडमेंट) बिल, 2021 पारित हुए हैं। वहीं, राज्यसभा में ट्रिब्नयूल रिफॉर्म बिल, 2021 पास हुआ। बीते तीन हफ्ते में लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही काफी हंगामेदार रही। चौथे हफ्ते के पहले दिन भी शोर-शराबे का सिलसिला जारी रहा। विपक्षी दल जासूसी कांड, तीन नए कृषि कानून और महंगाई के मुद्दों पर हंगामा कर रहे हैं। वे इन मसलों पर चर्चा कराने की मांग कर रहे हैं, जबकि सरकार का कहना है कि विपक्ष संसद नहीं चलने देना चाहती। हंगामे के चलते लगातार स्थगित हुआ सदनसुबह 11 बजे कार्यवाही शुरू होते ही लोकसभा में विपक्ष के नेता हंगामा करने लगे। इसे देखते हुए सदन की कार्यवाही 11:30 बजे तक स्थगित कर दी गई। पेगासस पर हंगामे के चलते राज्यसभा की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक स्थगित की गई। वहीं, लोकसभा की कार्यवाही दोबारा शुरू होने के कुछ ही देर बाद 12 बजे तक स्थगित हुई, फिर इसे 12:30 बजे तक स्थगित करना पड़ा। दूसरी ओर, 12 बजे दोबारा शुरू होने के बाद राज्यसभा की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक स्थगित कर दी गई। वहीं, 12:30 बजे शुरू होने के बाद लोकसभा में हंगामे के बीच कुछ देर कामकाज हुआ और कार्यवाही 2 बजे तक स्थगित की गई। विपक्ष का हंगामा नहीं थमने पर लोकसभा की कार्यवाही मंगलवार तक स्थगित कर दी गई। 3 बजे शुरू होने के बाद राज्यसभा की कार्यवाही 3:30 बजे तक स्थगित हुई। पेगासस और किसान आंदोलन पर सदन में स्थगन प्रस्तावकांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने लोकसभा में पेगासस प्रोजेक्ट पर चर्चा के लिए स्थगन प्रस्ताव नोटिस भेजा। वहीं, कांग्रेस सांसद दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने राज्यसभा में किसानों के प्रदर्शन को लेकर सस्पेंशन ऑफ बिजनेस नोटिस दिया। तीसरे हफ्ते राज्यसभा में 8 विधेयक पास हुएसंसद के मानसून सत्र के तीसरे हफ्ते में विपक्षी दलों के हंगामे के बीच राज्यसभा में 8 विधेयक पास हुए। इससे सदन के कामकाज में बढ़ोतरी हुई। यह दूसरे हफ्ते के 13.70% से बढ़कर 24.20% हो गया। 19 जुलाई को शुरू हुए सत्र के पहले हफ्ते में कामकाज सबसे ज्यादा 32.20% हुआ था। तीसरे हफ्ते में हंगामे की वजह से 21 घंटे, 36 मिनट बर्बाद हुए। बिना बहस के ही पास हुए बिलदोनों सदनों में हंगामे की वजह से कई बिल बिना बहस के ही पास हुए। यह स्वस्थ लोकतंत्र के लिए ठीक नहीं है। सदन स्पीकर ने भी सांसदों को यह बार-बार याद दिलाया, लेकिन कोई खास असर होता नहीं दिखा। विपक्ष के कुछ नेताओं ने भी इस चलन का विरोध किया।