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355 दिन से शहर पशु विचरण मुक्त

फिर भी सड़क पर चल रहीं डेयरी, विस्थापन स्थल से भी वापस आईं, कार्रवाई बंद

सागर – 1 अप्रैल 2023 काे पशु विचरण मुक्त घाेषित हुआ सागर नगर में जहां-तहां पशुओ का विचरण चल रहा है। 16 मई को बड़े जोर-शाेर से एक साथ चार डेयरियाें के पशु बाहर हुए। कलेक्टर, एसपी, महापाैर मैदान में उतरे। कभी लगातार ताे कभी रुक-रुक कर हुई कार्रवाई में शहर से 300 से अधिक डेयरी बाहर भी हुईं, परंतु अब कई डेयरियां शहर में वापस आ गई हैं। ये अब कहीं छिपकर ताे कहीं खुलकर सड़क पर संचालित की जा रही हैं। डेयरी विस्थापन स्थल पर 40 डेयरी विस्थापित हुईं थी, इनमें से अब 31 ही माैके पर हैं। कुछ शहर में वापस आ गईं हैं तो कुछ अन्य स्थानों पर संचालित हो रही हैं।

गांव और अन्य जगह विस्थापित की गईं कई डेयरी भी वापस आ गईं हैं। इनकाे लेकर नगर निगम में शिकायत भी की गई है। जिनका सत्यापन तो नगर निगम ने शुरू कर दिया है, परंतु अभी तक एक भी डेयरी बाहर नहीं की जा सकी है। नगर निगम का अमला पशु वाहन के साथ अब डेयरियाें को बाहर करने की जगह बैनर-पाेस्टर हटाने में व्यस्त है। 14 मार्च के बाद से ही पशुओं को बाहर नहीं किया गया है। ऐसे में डेयरियाें काे लेकर प्रशासनिक संकल्प की कमी भी सामने आती है।

इन संचालकों की डेयरी शहर में संचालित हाेने की हुई है शिकायत
}रमेश यादव, शनीचरी
}राेहित यादव, शनीचरी
}छाेटू मिहरा, तिलकगंज
}रानू यादव, तिलकगंज
}बबलू यादव, तिलकगंज
}शुभम यादव, तिलकगंज
}ठाकुर डेयरी, तिलकगंज }संताेष यादव, तिलकगंज }मल्लू यादव, कृष्णगंज }पप्पू यादव, कृष्णगंज }दिन्नू यादव, कृष्णगंज }रामभजन यादव, संत रविदास वार्ड।

शहर में हर जगह खुले में घूम रहे पशु, पहले जैसी सख्ती नहीं
पशु विचरण मुक्त घाेषित हाेने के 355 दिन बाद भी स्थिति ये है कि शहर में ऐसा काेई वार्ड नहीं है जहां पशुओं का विचरण न हो रहा हो। परंतु इन पर जिला प्रशासन और निगम का अमला अब कार्रवाई नहीं करता। बीच-बीच में इक्का-दुक्का कार्रवाई होती है लेकिन सिर्फ दिखावे के लिए ही। प्रशासन के स्तर पर अब पहले जैसी सख्ती नहीं रही है। बार-बार न्यायिक कार्रवाई करने की चेतावनी जरूर दी जाती है परंतु अभी तक किसी के खिलाफ नहीं की गई है न ही जुर्माना लगाया जा रहा है। यही वजह है कि डेयरियां शहर से पूरी तरह से बाहर नहीं हो पा रही हैं।

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