उपचुनाव में 26 सीटों के लिए 26 संकल्प पत्र जारी करेगी मध्यप्रदेश कांग्रेस News Politics by mpeditor - July 27, 2020July 27, 20200 मध्य प्रदेश की 26 विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव का समय जैसे जैसे नज़दीक आ रहा है, वैसे वैसे राजनीतिक सरगर्मियां बढ़ती जा रही हैं। राजनीतिक दलों के वादे और दावों का सिलसिला भा शुरु हो गया है। सत्ता दल से बाहर होने के बाद कांग्रेस एक बार फिर पूरे दम खम के साथ उपचुनाव के जरिये प्रदेश की सत्ता में वापसी की रणनीति बना रही है। इसी कड़ी में अब मध्य प्रदेश कांग्रेस 2018 में हुए विधानसभा चुनाव की तर्ज पर 26 सीटों पर होने वाले आगामी उपचुनाव के लिए ‘मिनी वचन पत्र’ जारी करेगी। इन सभी 26 सीटों के अलग अलग मुद्दों को लेकर एक वचन पत्र प्रदेश स्तर पर जारी किया जाएगा, साथ ही हर विधानसभा के स्थानीय मुद्दों को 26 अलग अलग क्षेत्रीय वचन पत्र भी जारी करेगी। कांग्रेस घोषणा पत्र को इस बार संकल्प पत्र नाम दे रही है। काँग्रेस प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ कांग्रेस का दावा कांग्रेस के दावे के मुताबिक, साल 2018 में हुए विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी द्वारा जो वचन पत्र जारी किया था, उनमें से 100 से ज्यादा वचनकमलनाथ सरकार द्वारा सत्ता में आने के बाद पूरे भी किये गए थे। अन्य वचन पूरे होने से पहले ही बीजेपी ने साज़िश कर उनकी सरकार गिरा दी। अब सत्ता में आने के बाद संकल्प पत्र के वादों के साथ पुराने वचन पत्र के वादे भी पूरे किए जाएंगे। संकल्प पत्र में होंगे ये मुद्दे कांग्रेस पहले की तरह इस बार भी सत्ता में आने पर अतिथि शिक्षक और अतिथि विद्वानों को नियमित करने का वादा कर चुकी है। साथ ही स्थानीय स्तर पर सड़क, निर्माण कार्य, पेयजल, सिंचाई, स्कूल, कॉलेज, रोजगार के अवसर देने समेत स्थानीय मुद्दों को घोषणा पत्र में शामिल किया जाएगा। हर सीट का अलग संकल्प पत्र, एक मुख्य पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा का कहना है कांग्रेस ने सभी विधानसभा क्षेत्रों से स्थानीय मुद्दों की जानकारी मंगाई है। कई विधानसभा सीटों से कांग्रेस कमेटी को जानकारी मिल चुकी है। उनके आधार पर स्थानीय स्तर पर 26 अलग-अलग संकल्प पत्र तैयार किया जा रहा है। साथ ही, सभी 26 सीटों के लिए राज्य स्तर पर एक संकल्प पत्र जारी किया जाएगा। कर्ज़माफी फिर बनेगा मुद्दा? 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने अपने वचन पत्र में कई बड़े वायदे कर दिए थे। इसमें सबसे बड़ा चुनावी वादा किसान कर्ज़माफी का था। पार्टी ने सत्ता में आते ही उस पर अमल शुरू कर दिया गया था। कांग्रेस के वचन पत्र में शामिल किसान कर्ज माफी प्रदेश की सियासत में बड़ा मुद्दा बन गया। इस बार के उपचुनाव में ये कितना असरदार साबित होगा, ये देखने वाली बात होगी।