You are here
Home > Uncategorized > राहुल बोले- कांग्रेस का मेनिफेस्टो देखकर PM घबरा गए

राहुल बोले- कांग्रेस का मेनिफेस्टो देखकर PM घबरा गए

भाजपा दलित-OBC की हिस्ट्री मिटाना चाहती है, जाति जनगणना को कोई शक्ति नहीं रोक सकती

नई दिल्ली – दिल्ली में आयोजित सामाजिक न्याय सम्मेलन में राहुल गांधी के अलावा कांग्रेस के कई बड़े नेता मौजूद थे।
कांग्रेस पार्टी के समाजिक न्याय सम्मेलन कार्यक्रम में राहुल गांधी ने कहा- कांग्रेस का मेनिफेस्टो देखकर PM घबरा गए हैं। यह कांतिकारी घोषणापत्र है। हमने जाति जनगणना कराने का वादा किया है। भाजपा दलित-OBC की हिस्ट्री को मिटाना चाहती है। आपकी हिस्ट्री की जड़ को एक बार फिर लगाना होगा। जाति जनगणना को कोई शक्ति नहीं रोक सकती है।

मोदी ने 10 साल देश से कहा कि वो OBC हैं। जैसे ही मैंने जाति जनगणना की बात की तो मोदी बोलने लगे की देश में सिर्फ दो जाति हैं अमीर और गरीब। मैं कहता हूं कि गरीबों की लिस्ट निकालिए, उसमें आपको दलित, आदिवासी-OBC मिल जाएंगे, लेकिन अमीरों की लिस्ट में आपको ये तीनों समुदाय के लोग नहीं मिलेंगे।

अगर आप सुपरपावर बनना चाहते हो 90 परसेंट (OBC, आदिवासी,दलित ) की शक्ति का प्रयोग करना होगा। ये लोग अपने आपको देशभक्त कहते हैं, लेकिन एक्सरे यानी जनगणना से डरते है। ये मेरे लिए सामाजिक न्याय एक राजनीतिक मुद्दा नहीं है। ये अब मेरी लाइफ का मिशन है। लाइफ मिशन में कॉम्प्रोमाइज नहीं हो सकता है।

राहुल गांधी के भाषण की बड़ी बातें…

मैंने देश की टॉप 200 बड़ी कंपनियों की मालिकों की लिस्ट निकाली। इन 200 कंपनियों में से 25 लोगों को नरेंद्र मोदी ने 16 लाख करोड़ रुपए दिए हैं। इतने पैसे से देश के किसानों की 25 बार कर्जमाफी की जा सकती है। इन 200 कंपनियों में से एक आदिवासी नहीं, एक दलित नहीं, एक OBC नहीं है।
जो मीडिया वाले मुझे नॉन सीरियस कह रहे हैं, उन कंपनियों के CEO और एंकरों की मैंने लिस्ट देखी है। 90 % मीडिया कंपनियों के CEO-एंकर और सीनियर लीडिरशिप में OBC या दलित जाति के लोग नहीं है।
मुझे जाति में कोई इंटरेस्ट नहीं है। मुझे न्याय में इंटरेस्ट है। मैंने सिर्फ कहा था कि पता लगाना चाहिए कि लोगों के साथ कितना अन्याय हो रहा है। इसके लिए जाति जनगणना यानी एक्सरे कराने की बात कही थी। मेरा इतना कहते ही भाजपा के लोग कहने लगे कि मैं देश को बांटने की कोशिश कर रहा हूं।
मोदी ने 22 लोगों को 16 लाख करोड़ रुपए दिए हैं। अगर हमारी सरकार आई तो उसका थोड़ा सा पैसा लोगों को दिया जाएगा। मुझे तो पिछड़ा शब्द भी अच्छा नहीं लगता है। इसको खत्म करना है। हमारी सरकार आई तो इस पर विचार करेंगे।
भाजपा चाहती है कि SC-ST, OBC समुदाय के लोग अपनी हिस्ट्री को न पहचाने। आपको बीते हुए समय से काट दिया गया है। फुले जी और अंबेडकर जी जैसे करोड़ों लोग थे, जिन्होंने 24 घंटे देश के लिए खून-पसीना दिया था, लेकिन कोई इनकी बात नहीं करता है। आजादी की लड़ाई में भी इन समुदाय के लोगों का सेंट्रल रोल था, लेकिन कोई चर्चा नहीं होती।
देश की सरकार और राज्य सरकार 45 हजार करोड़ रुपए फसल बीमा योजना के लिए देती है। इसका पैसा 16 कंपनियों को जाता है। इनके मालिकों में एक दलित-OBC नहीं है। फिर जब तूफान आता है तो किसान का खेत खत्म हो जाता है। फिर ये कंपनियां कहती हैं कि आपके खेत में नुकसान नहीं हुआ। यानी गरीबों से GST के जरिए पैसा लेकर उन लोगों तक पहुंचा जो दलित-OBC नहीं है।
आप ये मत सोचे की जाति-जनगणना सिर्फ कास्ट सर्वे है, उसमें इकॉनोमिक और इंस्टिटू्यूशनल सर्वे भी जोड़ेंगे। जिससे सबको पता चलेगा कि किस जाति के लोगों की कितनी आमदनी है और अलग-अलग संस्थानों में इनकी कितनी भागीदारी है। एक प्रकार से इसको नेशनल एक्सरे मानिए। मुझे लगता है कि 70 साल की आजादी के बाद आज देश कि सिचुएशन क्या है।

Top